ब्यूरो रिपोर्ट न्यूज़ अड्डा, १४ जुलाई : बंगाल में पंचायत चुनाव के बाद जारी हिंसा के मद्देनजर स्थिति को नियंत्रित करने के लिए राज्य के मुख्य सचिव हरिकृष्ण द्विवेदी ने गुरुवार को राज्य सचिवालय नवान्न में बीएसएफ के आइजी और केंद्रीय बल के नोडल अधिकारी एससी बुडाकोटी के साथ अहम बैठक की। बैठक में गृह सचिव व डीजीपी भी मौजूद थे। प्रशासनिक सूत्रों के मुताबिक, बैठक में चुनाव बाद केंद्रीय बलों की भूमिका को लेकर विस्तृत चर्चा की गई। साथ ही हिंसा रोकने के लिए कई अहम निर्णय लिए गए। पता चला है कि हिंसा रोकने के लिए केंद्रीय बलों के जवान विभिन्न संवेदनशील इलाकों में गश्त के साथ जरूरी कदम उठाएंगे। बैठक में इस बात पर भी चर्चा हुई कि केंद्रीय बलों को एक जगह से दूसरी जगह जाने में या रहने-खाने में कोई दिक्कत न हो। बीएसएस आइजी के साथ बैठक के बाद मुख्य सचिव ने सभी जिलों के डीएम-एसपी के साथ भी वर्चुअल बैठक की और आवश्यक दिशा-निर्देश दिए गए। खबर है कि मुख्य सचिव ने सभी जिला प्रशासन को केंद्रीय बलों को हरसंभव सहयोग करने के निर्देश दिए हैं। हिंसा रोकने को प्रत्येक जिले में तीन नोडल अधिकारी नियुक्त करने का भी निर्णय लिया गया है। केंद्रीय बलों के साथ बेहतर समन्वय के लिए इसमें डीएम-एसपी व बीएसएफ के नोडल अधिकारी नियुक्त किए जाएंगे।
गौरतलब है कि चुनाव में भारी हिंसा को देखते हुए कलकत्ता हाई कोर्ट ने पहले ही निर्देश दिया था कि नतीजे घोषित होने के 10 दिनों बाद तक चुनाव ड्यूटी के लिए आए केंद्रीय बल राज्य में तैनात रहेंगे। इस बीच बैठक के बाद बीएसएफ ने एक बयान जारी कर कहा कि चुनाव के बाद भी हर जिले में ब्लाक स्तर तक केंद्रीय बल तैनात हैं, जिनपर हिंसा की घटनाओं से निपटने की जिम्मेदारी सौंपी गई है। उन्होंने भरोसा दिया कि अगर कहीं से भी हिंसा या लोगों को किसी तरह की परेशानी की शिकायत मिलती है तो केंद्रीय बल के जवान तुरंत मौके पर पहुंचकर कार्रवाई करेंगे। बीएसएफ ने सभी मीडिया कर्मियों से भी चुनाव बाद हिंसा से संबंधित गतिविधियों के बारे में जानकारी तुरंत साझा करने का अनुरोध किया है। बता दें कि इससे पहले बीएसएफ के आइजी ने बुधवार को हाई कोर्ट में अपनी रिपोर्ट सौंपी, जिसमें आरोप लगाया कि राज्य चुनाव आयोग ने चुनाव के दौरान सही समय पर केंद्रीय बलों की तैनाती में सहयोग नहीं किया। मतदान के दिन संवेदनशील इलाकों में फोर्स की तैनाती नहीं की गई। रिपोर्ट देखकर चीफ जस्टिस ने कहा कि यह सही लगता है। दूर से आकर भी केंद्रीय बल बैठी रह गई। आयोग को ईमानदारी से काम करना चाहिए था।
बीएसएफ आइजी की रिपोर्ट पर अदालत ने आयोग और राज्य सरकार से 24 जुलाई तक रिपोर्ट देने को कहा है।